IIT बाबा अभय सिंह की शैक्षणिक यात्रा: जानें उनकी JEE रैंक, IIT बॉम्बे बैच और सैलरी

IIT बाबा अभय सिंह की शैक्षणिक यात्रा: जानें उनकी JEE रैंक, IIT बॉम्बे बैच और सैलरी

महाकुंभ 2025 से कई अनोखी कहानियाँ सोशल मीडिया पर वायरल हो रही हैं, और इनमें से एक नाम जो सबसे ज्यादा सुर्खियाँ बटोर रहा है, वह है अभय सिंह। उन्हें “IITian बाबा” के रूप में जाना जा रहा है, क्योंकि उनका दावा है कि उन्होंने देश के प्रतिष्ठित भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) बॉम्बे से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में डिग्री हासिल की है।

IIT बॉम्बे, भारत के सबसे प्रसिद्ध शैक्षणिक संस्थानों में से एक है, जो IIT-JEE परीक्षा में शीर्ष रैंक प्राप्त करने वाले छात्रों को प्रवेश देता है। इस संस्थान के स्नातक उच्च-स्तरीय नौकरियों और आकर्षक पैकेज के लिए प्रसिद्ध हैं।

हरियाणा में जन्मे और पले-बढ़े अभय सिंह का कहना है कि उनका ज्ञान प्राप्त करने का जुनून सिर्फ इंजीनियरिंग तक सीमित नहीं था। उन्होंने संस्कृत और इसकी विशेषताओं को भी गहराई से अध्ययन किया। चार साल तक IIT बॉम्बे में पढ़ाई करने के बाद, उन्होंने डिजाइन में मास्टर डिग्री प्राप्त की और फोटोग्राफी के क्षेत्र में काम किया। इसके अलावा, उन्होंने भौतिकी (Physics) की कोचिंग भी दी।

और पढें  IIT बाबा अभय सिंह की बहन ने मांगी माफी, कहा- 'वो सही रास्ते पर था, लेकिन हम समझ नहीं पाए

धीरे-धीरे उनका रुझान दर्शनशास्त्र की ओर हुआ और उन्होंने पोस्ट-मॉडर्निज्म, सुकरात (Socrates) और प्लेटो (Plato) के विचारों का अध्ययन किया ताकि जीवन के वास्तविक अर्थ को समझ सकें। कई करियर विकल्पों को आजमाने के बाद, वे अपने घर लौट आए और सरल जीवन को अपनाने का निर्णय लिया।

अपने अनुभव को साझा करते हुए, अभय सिंह बताते हैं कि एयरोस्पेस इंजीनियरिंग ने उनकी तार्किक सोच (Logical Thinking) और तर्क शक्ति (Reasoning Skills) को मजबूत किया। उनका मानना है कि जहाँ विज्ञान (Science) IQ को विकसित करता है, वहीं कला (Art) भावनात्मक बुद्धिमत्ता (Emotional Intelligence – EQ) को निखारती है, और दोनों का संतुलन जीवन में आवश्यक है।

क्या थी उनकी JEE रैंक और कितनी थी सैलरी?

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, अभय सिंह ने 2008 की JEE परीक्षा में ऑल इंडिया रैंक (AIR) 731 हासिल की थी, हालाँकि इस दावे की स्वतंत्र रूप से पुष्टि नहीं की जा सकी है। IIT बॉम्बे, हमेशा JEE टॉपर्स की पहली पसंद बनी रही है। 2024 में, JEE (Advanced) के शीर्ष 100 में से 72 छात्रों ने इस संस्थान को चुना था। IIT मद्रास के आंकड़ों के अनुसार, शीर्ष 500 में से 179 छात्रों ने IIT बॉम्बे, 109 ने IIT दिल्ली और 69 ने IIT मद्रास को चुना।

और पढें  वोटर आईडी कार्ड में मोबाइल नंबर कैसे चेक करे

हाल ही में दिए गए एक इंटरव्यू में, अभय सिंह ने बताया कि उन्होंने तीन साल तक कनाडा में काम किया और वहाँ उनकी वार्षिक सैलरी 36 लाख रुपये थी। हालाँकि, अपनी उज्ज्वल करियर संभावनाओं को छोड़कर, उन्होंने आध्यात्मिकता के मार्ग को अपनाने का फैसला किया।

क्या कहते हैं लोग?

महाकुंभ में उनके विचारों और जीवनशैली को सुनकर लोग प्रभावित हो रहे हैं। सोशल मीडिया पर उनकी तस्वीरें और वीडियो वायरल हो रहे हैं। कुछ लोग उन्हें प्रेरणादायक मानते हैं, तो कुछ उनके अतीत को लेकर सवाल उठा रहे हैं।

लेकिन उनकी कहानी एक अनोखा संदेश देती है –
“सफलता सिर्फ पैसा कमाने में नहीं, बल्कि आत्मज्ञान पाने में भी है।”

भगवान जी झा मिथिला के जाने-माने समाचार संपादक हैं। TheMithila.com पर वे मिथिला की भाषा, संस्कृति और परंपराओं को समर्पित लेखों के जरिए क्षेत्र की सांस्कृतिक धरोहर को जीवित रखने का प्रयास करते हैं।
WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top