5 हजार छात्राओं के बीच अकेला एग्जाम दे रहा एक लड़का, देखकर हंसती हैं लड़कियां, जानिए वजह

5 हजार छात्राओं के बीच अकेला एग्जाम दे रहा एक लड़का, देखकर हंसती हैं लड़कियां, जानिए वजह

बिहार में मैट्रिक परीक्षा जारी है, और गया जिले में कुल 59 परीक्षा केंद्र बनाए गए हैं। इन केंद्रों पर छात्र-छात्राओं के लिए अलग-अलग व्यवस्थाएं की गई हैं। हालांकि, एक परीक्षा केंद्र पर अनोखा मामला सामने आया है, जहां 5 हजार छात्राओं के बीच एक लड़का भी परीक्षा दे रहा है। परीक्षार्थी का नाम रॉकी कुमार है। उन्होंने बताया कि उन्हें लड़कियों के बीच परीक्षा देने में असहजता हो रही है, लेकिन अपनी साल बचाने के लिए वह परीक्षा दे रहे हैं। यह स्थिति एडमिट कार्ड में हुई तकनीकी गड़बड़ी के कारण उत्पन्न हुई है।

लड़कियों के बीच बैठकर छात्र क्यों दे रहा परीक्षा?

गया जिले के शेरघाटी स्थित एसएमजीएस कॉलेज को छात्राओं के लिए परीक्षा केंद्र बनाया गया था, जहां 5 हजार छात्राएं परीक्षा दे रही हैं। इसी केंद्र पर आमस प्रखंड के रहने वाले रॉकी कुमार को भी परीक्षा देने के लिए भेजा गया, क्योंकि उनके एडमिट कार्ड में गलती से उनका जेंडर ‘फीमेल’ अंकित हो गया था। जिला शिक्षा पदाधिकारी ने कहा कि ऐसी त्रुटियां हो जाती हैं और इसे परीक्षा के बाद सुधारा जा सकता है।

और पढें  MADHUBANI NEWS : - फाइनेंस कंपनी कर्मी से हथियार की नोक पर लूट, तीन शातिर अपराधी गिरफ्तार - जानें पूरी कहानी!"

रॉकी को छात्राओं के केंद्र पर क्यों भेजा गया?

रॉकी कुमार ने राजकीय हाई स्कूल, आमस से मैट्रिक परीक्षा के लिए आवेदन किया था। बिहार शिक्षा समिति द्वारा जारी किए गए एडमिट कार्ड में उनका नाम सही था, लेकिन जेंडर ‘फीमेल’ दर्ज हो गया। सामान्यतः छात्रों का परीक्षा केंद्र गया शहर में रखा गया था, जबकि छात्राओं का केंद्र शेरघाटी में था। लेकिन एडमिट कार्ड में हुई गलती के चलते रॉकी को छात्राओं के साथ परीक्षा देने के लिए भेजा गया।

क्या कहते हैं रॉकी कुमार?

रॉकी कुमार का कहना है कि वह 5 हजार छात्राओं के बीच परीक्षा देते समय असहज महसूस कर रहे हैं। सेंटर पर एंट्री करते समय उन्हें देखकर लड़कियां भी हंसने लगती हैं, लेकिन उनके पास कोई और विकल्प नहीं था। उन्होंने बताया कि उनके आवेदन में कोई गलती नहीं थी, लेकिन इतनी जल्दी एडमिट कार्ड में सुधार संभव नहीं था, इसलिए उन्होंने परीक्षा देने का फैसला किया।

और पढें  ऑफिस, अधिकारी और कर्मचारी... सब फर्जी! 'अंचल कार्यालय' में 10 बोरी जमीन के कागजात देख SDM साहब के उड़े होश

क्या कहना है परीक्षा केंद्र प्रशासन का?

एसएमजीएस कॉलेज, शेरघाटी के प्रिंसिपल प्रो. एहसान अली ने बताया कि उनके केंद्र पर करीब 5 हजार छात्राएं परीक्षा दे रही हैं, जिनमें एक छात्र भी शामिल है। उन्होंने बताया कि तकनीकी त्रुटि के कारण रॉकी को इस केंद्र पर परीक्षा देने की अनुमति दी गई है। रॉकी कुमार का रोल कोड 81099 और रोल नंबर 2540004 है।

क्या कह रहे हैं शिक्षा अधिकारी?

इस मामले पर जिला शिक्षा पदाधिकारी ओमप्रकाश ने कहा कि ऐसी त्रुटियां कभी-कभी हो जाती हैं। उन्होंने बताया कि एक अन्य केंद्र पर भी इसी तरह की गलती हुई थी। बिहार शिक्षा समिति को इस संबंध में जानकारी दे दी गई है और परीक्षा के बाद एडमिट कार्ड में सुधार किया जाएगा।

और पढें  Bihar Jamin Registry Update 2025 -बिहार में ज़मीन रजिस्ट्री की नई प्रक्रिया: 2025 में बड़े बदलाव

प्रशासन ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए आश्वासन दिया है कि भविष्य में ऐसी त्रुटियों से बचने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।

प्रो. शिव चन्द्र झा, के.एस.डी.एस.यू., दरभंगा में धर्म शास्त्र के प्रख्यात प्रोफेसर रहे हैं। उनके पास शिक्षण का 40 से अधिक वर्षों का अनुभव है। उन्होंने मैथिली भाषा पर गहन शोध किया है और प्राचीन पांडुलिपियों को पढ़ने में कुशलता रखते हैं।
WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top